जन्म : साकर में।
पहली राजस्थानी फिल्म : सुपातर बीनणी।
अब तक : 16 राजस्थानी फिल्मों में अभिनय। पांच में नायक के रूप में तथा 11 में केंद्रीय भूमिका निभाई।
विशेष : तैंतीस वर्षों से थिएटर व सिनेमा में सक्रिय। कई नाटकों का लेखन व निर्देशन। रामू चनणा, ओजी रे दीवाना, पराई बेटी और बीरो भात भरण ने आयो जैसी कई हिट राजस्थानी फिल्मों का लेखन। साथ ही कई फिल्मों में इनके लिखे गीत खासे लोकप्रिय रहे।
सम्मान व पुरस्कार
1. अंतरराष्ट्रीय राजस्थानी सम्मेलन(2000) में फिल्म व नाट्य क्षेत्र में योगदान के लिए विशेष सम्मान।
2. गणगौर उत्सव (2006) पर राजस्थानी जन जागरण प्रवासी संघ मुंबई एवं दोपहर सामना द्वारा विषेष सम्मान।
3. पिंकसिटी प्रेस क्लब में 25 फरवरी 2007 में आयोजित राजस्थानी फिल्म अवार्ड समारोह में बेस्ट एक्टर अवार्ड।
4. राजस्थान दिवस पर मुंबई में आयोजित राजस्थानी फिल्म फेयर अवार्ड में घूमर कला अकादमी की ओर से लाइफ टाइम अचीवमेंट अवार्ड।
इन दिनों : बहू म्हारी लाखां री, भाई-बंदी, बिदाई, त्रिपुर सुंदरी सहित अन्य आने वाली फिल्मों में अभिनय व लेखन में व्यस्त